शिमला 19 मई
हिमाचल की राजधानी शिमला के1रिज मैदान के समीप स्थित हिमाचल प्रदेश टूरिज्म विभाग का एक मात्र रेस्तरां आशियाना और निचली मंजिल जो अंग्रेजो के समय बनी है और वर्तमान मे गुफा के नाम से मशहूर है और गुफा की खासियत यह है कि ये रेस्तरां और बार जमीन के नीचे है इसको अंग्रेजो ने इस तरह डिजाइन किया है कि गर्मियों के मौसम में गुफा ठंडी और सर्दियों में ये गर्म रहती है जिसको देखकर बाहर5राज्यो और विदेशों से आये सैलानी भी मोहित हुए बगैर नही रहते है ।
इसकी सुंदरता को निहारने और गुफा में मदिरा पान करने और रेस्तरां में खाने पीने का आनन्द लेने लोग गूगल पर सर्च करके इसलिए भी यंहा पँहुचते है कि सरकारी रेस्तरां और बार होने के कारण उनको ठगे जाने का भय न के बराबर होता है और यंहा पर बने वेज और नॉन वेज व्यंजन भी बहुत स्वादिष्ट होते है ।
किन्तु जो ग्राहक गुफा में अपने परिवार समेत या दोस्तो समेत कभी लंच करने या अन्य खानपान के लिए बैठता है उसको लम्बा इंतजार करना पड़ता है क्योंकि अक्सर देखा जाता है कि लगभग 40 या 50 लोगो की सिटिंग क्षमता वाले इस बार रेस्तरां मे मात्र एक युवा वेटर ही सर्विस देता हुआ दिखाई देता है और कई बार उसको ग्राहकों के गुस्से का शिकार भी होना पड़ता है क्योंकि अकेला होने के कारण काम की अधिकता के चलते वो भी सब ग्राहकों को खुश करने मे नाकाम हो जाता है स्टाफ की कमी का आलम यह है कि कई बार रिसेप्शन पर बैठा कर्मचारी भी लोगो के टेबल से बर्तन उठाता हुआ नजर आता है और उतने समय मे रिसेप्शन पर अन्य ग्राहक लम्बी कतार में उस कर्मचारी का इंतजार करते रहते है जितने समय वो बेचारा रेस्तरां का नाम खराब न हो इसके लिए स्वयं ही टेबल पर सर्विस देने के लिए वेटर बन जाता है ।
हैरानी की बात ये है कि गुफा रेस्तरां में स्टाफ की ये कमी पिछले वर्ष से लेकर देखी जा रही है किंतु टूरिज्म विभाग इसकी तरफ बिल्कुल ध्यान नही दे रहा है जबकि शहर के अंदर अपने आप मे अनोखा अंदाज लिए ये बार रेस्तरां कमाई की कामधेनु गाय भी है पर पता नही कब बड़े अधिकारी इसकी और ध्यान देंगे और यंहा पर अतिरिक्त स्टाफ तैनात करेंगे ।
Post Views: 811